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नए वर्ष 2022 से आपकी कितनी उम्मीदें और क्यों ?

महामारी की चपेट में जूझ रहे पूरे विश्व को विगत दो वर्षो से दैनिक लाइफ स्टाइल में काफी उठा पटक देखने को मिली । वर्तमान परिवेश में नए आंग्ल वर्ष का आगमन सबके लिए कम उत्साहजनक,  अधिक  चिंताजनक और अतीत के डर से  ज्यादा सचेत  हो सकता है । हर वर्ष एक वर्ष जाता है, और दूसरे वर्ष का आगाज होता है।हमने बीते साल में क्या किया, आने वाले वर्ष में क्या करना है, नव वर्ष सब के जीवन में एक नई उमंग और उत्साह के साथ आता है लोग नव वर्ष पर अपने दोस्तों, रिश्तेदारों, और सगे संबंधित को नव वर्ष की हार्दिक बधाई देते है। इस वर्ष नववर्ष 2022, 1 जनवरी, शनिवार को संपादित रहा ।लोग आंग्ल  नव वर्ष के आगमन पर अग्रिम भविष्य  के लिए एक-दूसरे को बधाई और शुभकामनाएं देते है। 2021 खत्म हुआ  और नया साल 2022 का सचेत आगमन हो रहा क्योंकि अब भी देश ओम्रीकॉन के खतरे के साए में दुबक रहा । 2022 में त्योहारों और लगन सीजन  के लिए  अब कुछ ही समय बाकी है  हर व्यक्ति की ख्वाहिश होती है कि उसका वैवाहिक जीवन , अच्छी नौकरी हो  और उसे तरक्की मिलती रहे । इसके लिए लोग काफी मेहनत भी करते हैं । एक नौकरीपेशा व्यक्ति हमेशा अपने करियर में बढ़ोतरी के सपने देखता है । लेकिन बहुत से लोग ऐसे भी हैं जिन्हें कड़ी मेहनत करने के बाद भी सफलता नहीं मिलती । इन लोगों के रास्ते में काफी रुकावटें आती हैं । उम्मीद है कि नए वर्ष में उन्हे उनकी कठिनाइयों से निजात मिलेगा ।श्रीकृष्ण ने अर्जुन को कहा था – ‘नभः स्पृशं दीप्तम्’ यानि गर्व के साथ आकाश को छूना। ये भारतीय वायुसेना का आदर्श वाक्य भी है। माँ भारती की सेवा में लगे अनेक जीवन आकाश की इन बुलंदियों को रोज़ गर्व से छूते हैं, हमें बहुत कुछ सिखाते हैं। ऐसा ही एक जीवन रहा ग्रुप कैप्टन वरुण सिंह का। वरुण सिंह, उस हेलीकॉप्टर को उड़ा रहे थे, जो इस महीने तमिलनाडु में हादसे का शिकार हो गया। उस हादसे में, हमने, देश के पहले सीडीएस जनरल बिपिन रावत और उनकी पत्नी समेत कई वीरों को खो दिया।25 दिसम्बर, 2021 को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने घोषणा की कि 3 जनवरी से देश में 15 से 18 साल के बच्चों को कोरोना का टीका लगाया जायेगा। मुख्य बिंदु इस मौके पर प्रधानमंत्री मोदी ने यह घोषणा भी की कि स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं को एक ‘बूस्टर डोज़’ भी लगाई जाएगी, यह कार्य 10 जनवरी से शुरू होगा ।13 दिसंबर, 2021 को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने वाराणसी में प्राचीन काशी विश्वनाथ मंदिर को गंगा के घाटों से जोड़ने वाले ‘काशी विश्वनाथ कॉरिडोर’ का उद्घाटन किया। परियोजना का पहला चरण लगभग 339 करोड़ रुपए की लागत से निर्मित हुआ है। इसमें पर्यटक सुविधा केंद्र, मुमुक्षु भवन, भोगशाला, सिटी म्यूजियम, व्यूइंग गैलरी और फूड कोर्ट समेत कुल 23 भवनों का उद्घाटन किया गया। यह कॉरिडोर 5,000 हैक्टेयर के क्षेत्र में बनाया गया है। काशी विश्वनाथ मंदिर की गंगा तक सीधी पहुंच नहीं थी, परंतु अब गंगा में स्नान करके सीधे मंदिर पहुंच सकते हैं। वर्ष 2021 में कई उपचुनाव हुए, जहां पर भारतीय जनता पार्टी की लड़ाई समूचे विपक्ष से रही। लेकिन बंगाल और असम का चुनाव सबसे अहम रहा। बंगाल में भाजपा बुरी तरह हारी जबकि असम में सफलता हाथ लगी । सभी चुनावों में हिन्दू-मुस्लिम, धर्मांतरण, आतंकवाद, कट्टरपंथ और सांप्रदायिकता का मुद्दा बना रहा। पिछले वर्ष में हजारों लोगों ने इस्लाम को छोड़ा। हाल ही में भारत में शिया सेंट्रल वक्फ बोर्ड के पूर्व चेयरमैन वसीम रिजवी ने और केरल निवासी मलयाली फिल्म निर्देशक अली अकबर ने ​इस्लाम धर्म छोड़कर हिन्दू धर्म अपना लिया। इस्लाम छोड़ने वाले भारतीय ही नहीं, कई ईरानी, सऊदी, ब्रिटेनी, अमेरिकन और पाकिस्तानी भी हैं। इंडोनेशिया के पूर्व राष्ट्रपति सुकर्णो की बेटी सुकमावती सुकर्णोपुत्री ने भी इस्लाम छोड़कर हिन्दू धर्म अपना लिया।

         ये वक्त है जब हम नए साल की ओर, नई उम्मीदों और नई उपलब्धियों की ओर बढ़ रहे हैं। हमने अपने गुजरे वक्त से सीखा है और आने वाले भविष्य के सपने संजोए हैं। नए साल में हमसब चाहते हैं कि हम खुश रहें, हम संकल्प लेते हैं। हमारी इच्छाएं सफलता की गारंटी नहीं देती हैं, लेकिन यह सफलता के रास्तों को रौशन करती है। सफलता की ओर हमारे रास्तों को आसान बनाती है। संकल्प हमेशा पूरा करने के लिए नहीं होता, लेकिन ये हमें हमेशा याद दिलाता है कि अभी लक्ष्य को पाना है ।पेट्रोलियम उत्पादों की खपत के लिए आयात पर भारत की निर्भरता पिछले कुछ वर्षों में बढ़ी है। उदाहरण के लिए 1998-99 में शुद्ध आयात कुल खपत का 69% था जो 2020-21 में बढ़कर लगभग 95% हो गया। घरेलू खपत में आयात का बड़ा हिस्सा है, इसी वजह से कच्चे तेल की अंतरराष्ट्रीय कीमतों में किसी भी तरह के बदलाव का पेट्रोलियम उत्पादों की घरेलू कीमतों पर महत्वपूर्ण प्रभाव पड़ता है।2020 के बाद से अडाणी की कुल संपत्ति में काफी बढ़ोतरी हुई है । उनकी कुल संपत्ति 18 मार्च 2020 को 4.91 अरब डॉलर थी । अडाणी ग्रुप के शेयर में तेज रिकवरी देखी गई है. जबकि, रिलायंस के शेयर कंपनी की सऊदी अरामको के साथ डील रद्द होने के बाद से दबाव में है। गौतम अडानी की नेटवर्थ में पिछले दो सालों में काफी इजाफा हुआ है । ब्लूमबर्ग बिलियनेयर्स इंडेक्स के अनुसार अडानी 84.4 अरब डॉलर की नेटवर्थ के साथ दुनिया के अमीरों की सूची में 13वें नंबर पर थे ।प्रधानमंत्री मोदी जेवर में नोएडा अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे का भूमिपूजन और शिलान्यास किया जो भारत का सबसे बड़ा हवाई जोन होगा , इस कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी मौजूद रहें ।बताया गया कि प्रधानमंत्री के दृष्टिकोण के अनुरूप ही हवाई अड्डे का विकास कनेक्टिविटी को बढ़ावा देने और भविष्य के लिए तैयार विमानन क्षेत्र बनाने की दिशा में एक कदम है। जेवर में नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट बनाने के लिए 1334 हेक्टेयर जमीन अधिगृहीत की गई है । जमीन अधिग्रहण के दौरान इस परियोजना से प्रभावित परिवारों को जेवर के बांगर मे बसाया जा रहा है ।एयरपोर्ट को साल 2024 में शुरू करने का लक्ष्य रखा गया है । पहले चरण की लागत लगभग 5730 करोड़ रुपए होगी ।17 दिसम्बर, 2021 को समाप्त हुए सप्ताह के दौरान भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 160 मिलियन डॉलर की कमी के साथ 635.67 अरब डॉलर पर पहुँच गया है। विश्व में सर्वाधिक विदेशी मुद्रा भंडार वाले देशों की सूची में भारत चौथे स्थान पर है, इस सूची में चीन पहले स्थान पर है। 13 दिसंबर, 2021 को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने वाराणसी में प्राचीन काशी विश्वनाथ मंदिर को गंगा के घाटों से जोड़ने वाले ‘काशी विश्वनाथ कॉरिडोर’ का उद्घाटन किया। परियोजना का पहला चरण लगभग 339 करोड़ रुपए की लागत से निर्मित हुआ है। इसमें पर्यटक सुविधा केंद्र, मुमुक्षु भवन, भोगशाला, सिटी म्यूजियम, व्यूइंग गैलरी और फूड कोर्ट समेत कुल 23 भवनों का उद्घाटन किया गया। यह कॉरिडोर 5,000 हैक्टेयर के क्षेत्र में बनाया गया है। काशी विश्वनाथ मंदिर की गंगा तक सीधी पहुंच नहीं थी, परंतु अब गंगा में स्नान करके सीधे मंदिर पहुंच सकते हैं।जम्मू-कश्मीर में हिन्दू और सिखों की हत्या चर्चा में रही। 2021 में 203 आतंकी घटनाएं हुईं। दूसरी ओर गणतंत्र दिवस पर और किसान आंदोलन में हुई हिंसा को लेकर इस वर्ष निहंग सिख भी चर्चा में रहे।22 जनवरी को भजन गायक नरेन्द्र चंचल का निधन, 11 मार्च को ब्रह्माकुमारी संस्थान की प्रमुख दादी हृदयमोहिनी का निधन और 15 अप्रैल को हरिद्वार कुंभ में महामंडलेश्वर कपिल देव का कोरोना से निधन का समाचार भी सुनने को मिला। लेकिन 20 सितंबर 2021 को अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष महंत नरेन्द्र गिरि महाराज की फांसी की खबर ने सभी को चौंका दिया ।पूरे वर्ष अयोध्या में मंदिर निर्माण के चंदे को लेकर विवाद रहा। इसी बीच सोमनाथ, केदारनाथ, काशी विश्‍वनाथ, बोधगया, करतारपुर कॉरिडोर और चारधाम तीर्थ एवं यात्रा मार्ग के विकास की गंगा भी बही। इसी के साथ पाकिस्तान और बांग्लादेश में मंदिर में तोड़फोड़ की घटना ने भी सभी को दु:खी किया। उपरोक्त विश्लेषण के आधार पर हम कह सकते है की बीता वर्ष 2021 काफी कुछ सीखा कर गया है और काफी सतर्क रहने की जरूरत भी है । आगामी यह आंग्ल वर्ष 2022 आप सबके लिए मंगलमय हो ।

पंकज कुमार मिश्रा एडिटोरियल कॉलमिस्ट शिक्षक एवं पत्रकार केराकत जौनपुर ।

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